7 Upcoming Temple Corridors: ये 7 नए मंदिर कॉरिडोर बनेंगे आकर्षण का केंद्र

भारत की संस्कृति और धार्मिक धरोहर पूरे विश्व भर में प्रसिद्ध है। जिसे देखने देश-दुनिया से लोग भारत की ओर दौड़े चले आते हैं। एक समय था जब लोग सबसे ज्यादा गोवा की ट्रिप प्लानिंग करते थे। मगर पिछले एक दशक में लोगों ने धार्मिक स्थलों पर यात्रा करना चुना है। इसी को ध्यान में रखते हुए सरकार भी इन स्थलों को और बेहतर बनाने के लिए कई मंदिर कॉरिडोर प्रोजेक्ट्स पर काम कर रही है। इन कॉरिडोर्स का उद्देश्य धार्मिक स्थलों की यात्रा को सुगम और आकर्षक बनाना है। आइये 7 Upcoming Temple Corridors के बारे में जानते हैं।

महालक्ष्मी कॉरिडोर

महालक्ष्मी कॉरिडोर का निर्माण महाराष्ट्र सरकार द्वारा कराया जा रहा है। जो कोल्हापुर महालक्ष्मी मंदिर में आने वाले श्रद्धालुओं को आकर्षित करेगा। इस मंदिर में सालाना 50 लाख से भी ज्यादा लोग आते हैं। जिनसे प्रतिवर्ष 200 करोड़ की कमाई होती है। 

कामाख्या मंदिर कॉरिडोर

कामाख्या मंदिर कॉरिडोर को भारत का तीसरे सबसे बड़ा मंदिर कॉरिडोर बनाने के लक्ष्य के साथ विकसित किया जा रहा है। जिसका निर्माण कार्य 2021 से शुरू है। जो असम की प्रसिद्ध शक्तिपीठ मंदिर, गुवाहाटी में आने वाले यात्रियों को आकर्षित करेगा। यहां सालाना 25 लाख से ज्यादा लोग आते हैं। जिनसे डेढ़ सौ करोड़ की कमाई होती है। कामाख्या मंदिर देश के 51 शक्ति-पीठों में से एक है।

मथुरा वृंदावन कॉरिडोर

मथुरा-वृंदावन पूरी दुनिया भर में प्रसिद्ध है। मथुरा वृंदावन कॉरिडोर श्री कृष्ण जन्मभूमि और वृंदावन के तमाम मंदिरों में आने वाले यात्रियों के मनोरंजन और सुविधा का अतिरिक्त विकल्प बनेगा। यहां हर साल लगभग ढाई करोड़ यात्री आते हैं। जिनसे 500 करोड़ सालाना शुद्ध कमाई होती है।

अक्षयवट कॉरिडोर

प्रयागराज में महाकुंभ 2025 धूमधाम से मनाया जा रहा है। जो दुनिया भर के लिए आकर्षण का केंद्र बना हुआ है। प्रयागराज का अक्षयवट कॉरिडोर प्रयागराज के त्रिवेणी संगम के पास स्थित है। यहां सामान्य वर्ष में भी सालाना 30 लाख से ज्यादा लोग घूमने आते हैं। जिनसे 110 करोड़ के करीब आय होती है। अक्षयवट कॉरिडोर के माध्यम से अधिक कमाई और यात्रियों के अनुभव को और बेहतर बनाया जाएगा। जिसका आध्यात्मिक और ऐतिहासिक दृष्टि से भी काफी महत्व है।

चित्रकूट कॉरिडोर

चित्रकूट कॉरिडोर को चित्रकूट के कामदगिरि पर्वत और रामघाट से जुड़े प्रमुख स्थलों से जोड़ा जाएगा। यहां सालाना 20 लाख यात्री आते हैं। जिनसे 80 करोड़ से अधिक कमाई होती है। चित्रकूट कॉरिडोर 2028 तक अंतिम रूप से तैयार कर लिया जाएगा।

पीतांबर पीठ कॉरिडोर

मध्य प्रदेश के प्रसिद्ध शक्तिपीठ, दतिया से जुड़ा पीतांबर पीठ कॉरिडोर मध्य प्रदेश सरकार द्वारा बनाया जा रहा है। यहां सालाना 10 से 12 लाख पर्यटक आते हैं। जिनसे 50 करोड़ सालाना कमाई होती है।

विष्णुपद मंदिर कॉरिडोर

विष्णुपद मंदिर कॉरिडोर को बिहार के सबसे प्रसिद्ध मंदिरों में से एक विष्णुपद मंदिर से जोड़ा जाएगा। जो फल्गु नदी के घाट के नजदीक है। यहां सालाना 15 लाख श्रद्धालु आते हैं। जिनसे 1.2 करोड़ कमाई होती है। 

कॉरिडोर क्या होते हैं?

कॉरिडोर किसी प्रसिद्ध धार्मिक स्थल के क्षेत्र में तैयार किए जाते हैं। जो इन धार्मिक स्थलों पर भ्रमण करने आए यात्रियों को रहने, खाने और मनोरंजन आदि की सुविधा उपलब्ध कराते हैं। 

WhatsApp Channel Join Now
Telegram Channel Join Now

Leave a Comment