जासूस ( SPY) कैसे बने? रॉ में जासूस कैसे बनते हैं? सम्पूर्ण जानकारी

अक्सर हम फिल्मों में जासूसी (SPY) किरदार देखकर उनसे काफी ज्यादा प्रभावित होते हैं। उनका काम करने का तरीका आम लोगों से काफी अलग और रोमांचक होता है। मगर असल में उनका काम काफी जोखिमों से भरा और चुनौतीपूर्ण होता है। समय के साथ जासूसी के क्षेत्र में भी काफी बदलाव आए हैं। और आने वाले समय में जासूस की डिमांड बढ़ने वाली है। क्योंकि आए दिन तरह की घटनाएं सामने आ रही है। जो एक जासूस की जरूरत पैदा करती है। एक जासूस की जरूरत न सिर्फ किसी केस या दुर्घटना तक सीमित है। बल्कि यह सरकार के लिए भी एक जरूरी पहलू बन गया है। जो देश में और देश के बाहर पनप रहे खतरों को समय रहते पता लगाने की जिम्मेदारी उठाते हैं। आईए जानते हैं आखिर जासूस कैसे बनते हैं? (How to Become a SPY) और जासूस बनने के लिए किन-किन पहलुओं से गुजरना होगा।

जासूस कैसे बने? How to Become a SPY

जासूस बनने का सफर इतना आसान नहीं है, जितना की इसे समझा जाता है। एक सफल जासूस बनने के लिए कई चीजों में माहिर होना पड़ता है। यहां हम कुछ योग्यताएं सूचीबद्ध कर रहे हैं। अगर आप में यह सब योग्यताएं है तो आप जासूस बनने के लिए योग्य हैं।

जासूस बनने के लिए योग्यताएं

  • भाषाओं और ज्ञान: एक जासूस के लिए शारीरिक और मानसिक दोनों ही प्रकार से मजबूत होना आवश्यक है। इसके साथ ही उसे कई भाषाओं का ज्ञान होना चाहिए। जिसमें खासकर वे स्थानीय भाषाएं शामिल है। जहां संभावित रूप से उसे काम करना पड़ सकता है। 
  • दबाव में काम करने की क्षमता: एक जासूस को बिना अपने टारगेट से नजरे हटाए कई घंटे या कई दिनों तक पीछा करने और उसकी निगरानी करने की जिम्मेदारी दी जा सकती है। ऐसी स्थिति में वह अपर्याप्त नींद और अपर्याप्त सुविधाओं के साथ-साथ दबाव और तनाव में भी काम करने में सक्षम होना चाहिए।
  • प्रभावी वार्तालाप कौशल: कई बार जासूस के सामने ऐसी स्थिति हो जाती है, कि उसे अपने टारगेट के साथ दोस्ती करने और जान पहचान बनाने की नौबत आ जाती है। ऐसे में उसका वार्तालाप कौशल बेहतर होना आवश्यक होता है। जिसे वह सामने वाले को अपने शब्दों से प्रभावित करके अपने उद्देश्य को पूरा कर सके।
  • धैर्य और दृढ़ता: जासूसी प्रक्रिया कई हफ्तों या महीना तक जारी रह सकती है। अथवा धीमी पड़ सकती है। इसलिए एक जासूस में धैर्य और दृढ़ता का होना बेहद जरूरी है।
  • गुप्त रूप से रहने का कौशल: एक जासूस को मिशन के दौरान अपनी पहचान और निजी जानकारी उजागर करना महंगा पड़ सकता है। यहां तक की उसकी जान पर भी आफत बन सकती है। इसलिए एक जासूस को अपनी जानकारी को गोपनीय रखने की क्षमता होनी चाहिए।
  • कंप्यूटर और टेक्नोलॉजी का ज्ञान : आजकल लगभग सभी काम इंटरनेट के जरिए किये जाते हैं। ऐसे में कंप्यूटर चलाना अथवा टेक्नोलॉजी का ज्ञान होना एक जासूस के लिए जरूरी तत्व बन गया है।
  • शैक्षणिक योग्यता: अगर आप सरकारी खुफिया विभाग और पुलिस जैसे विभागों में एक जासूस की भूमिका निभाना चाहते हैं। तो आपका शिक्षित होना भी जरूरी है। जिसके लिए आपको न्यूनतम स्नातक डिग्री पूरी करनी होगी। हालांकि ज्यादातर विभागों में आपका सिर्फ जासूसी कौशल देखा जाता है। मगर शैक्षणिक योग्यता को भी पूरी नजरअंदाज नहीं किया जाता।

जासूसी के लिए बेस्ट ट्रेनिंग सेण्टर (Best Training Center For Spying)

देश दुनिया में कई जासूसी ट्रेनिंग सेंटर मौजूद है। हालांकि ज्यादातर सेंटरों के बारे में सार्वजनिक रूप से बहुत कम जानकारी उपलब्ध है। यह सेंटर आमतौर पर सरकार द्वारा या भरोसेमंद एजेंसी द्वारा संचालित किये जाते हैं। और केवल योग्य उम्मीदवारों को ही में ट्रेनिंग का अवसर दिया जाता है।

  1. सेंट्रल डिटेक्टिव ट्रेनिंग इंस्टीट्यूट (CDTI), कोलकाता
  2. CDTI, हैदराबाद
  3. CDTI, चंडीगढ़
  4. CDTI, गाज़ियाबाद
  5. CDTI, देवनहल्ली (कर्नाटक)

जॉब विकल्प और सैलरी

प्रशिक्षण प्राप्त करने के बाद आपके पास नौकरी के कई विकल्प होते हैं। जिनमें सरकारी और गैर सरकारी दोनों ही विकल्प हैं। एक जासूस की सैलरी उसके कौशल और अनुभव के साथ-साथ मिशन की अवधि, लॉकेशन और अन्य कई कारकों पर निर्भर करती हैं। 

  • आप किसी प्राइवेट जासूसी केंद्र में नौकरी कर सकते हैं। 
  • लापता व्यक्ति, अपहरण, डकैती और हत्या आदि की गुत्थी को सुलझाने में एक जासूस की भूमिका महत्वपूर्ण होती है। 
  • पुलिस विभाग से लेकर रॉ (रिसर्च एंड एनालिसिस विंग) और अन्य कई विभागों में जासूस की जरूरत पड़ती है
  •  जो उनके साथ मिलकर अपराधों को सुलझाने में मदद करते हैं।
  • खुफिया एजेंट: इसमें आपको गुप्त रूप से अपराधियों या किसी विशेष व्यक्ति की निगरानी रखते हुए अपने हैंडलर को जानकारी देनी होती है।
  • काउंटर इंटेलीजेंस अधिकारी: इस भूमिका में आपको विदेश से आए हुए जासूसों यानी देश विरोधी खुफिया एजेंट का पता लगाने और उनकी गतिविधियों पर नजर रखना का काम करना होता है।
  • क्राइम इंटेलिजेंस अधिकारी: अपराधियों के बारे में जानकारी एकत्रित करना और अपराध पर लगाम मुख्य कार्य होता है।
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