इंफोसिस के को-फाउंडर क्रिस गोपालकृष्णन मुश्किलों में फंसते नजर आ रहे हैं। हाल में उनके सहित 17 और अन्य लोगों के खिलाफ एससी/एसटी अत्याचार निवारण अधिनियम के तहत मुकदमा दर्ज किया गया है। यह मामला साल 2014 का है। जिसको लेकर अब पीड़ित पक्ष ने कार्रवाई की है।
क्रिस गोपालकृष्णन पर लगे गंभीर आरोप
इंफोसिस के को-फाउंडर और IT उद्योग के सेनापति क्रिस गोपालकृष्णन और भारतीय विज्ञान संस्थान (IISc) के पूर्व निदेशक बलराम समेत 16 अन्य लोगों के खिलाफ एससी/एसटी अत्याचार निवारण अधिनियम के तहत केस दर्ज किया गया है। मामला बेंगलुरु के सदाशिव नगर पुलिस स्टेशन में 71वें सिटी सिविल एंड सेशन कोर्ट के निर्देश पर दर्ज हुआ।
क्या है पूरा मामला
शिकायतकर्ता दुर्गाप्पा, जो कि आदिवासी बोवी समुदाय से आते हैं और IISc के सेंटर फॉर सस्टेनेबल टेक्नोलॉजी में फैकल्टी मेंबर थे. दुर्गाप्पा ने आरोप लगाया है कि उन्हें योजना के तहत हनी ट्रैप मामले में फंसाकर 2014 में नौकरी से बर्खास्त कर दिया गया था। साथ ही दुर्गाप्पा ने यह भी आरोप लगाया है की उन्हें जातिगत गालियाँ भी दी गई थी. जिससे उनके मान सम्मान को ठेस पहुँची है.
इस समय क्रिस गोपालकृष्णन आईआईएससी बोर्ड ऑफ ट्रस्टीज के मेंबर के पद पर कार्यरत थे. जिनकी ओर से फ़िलहाल इस मामलें पर कोई प्रतिक्रिया नहीं आई है. उन पर लगाए जा रहे यह आरोप सही साबित होते हैं, तो उन्हें कम से कम 6 महीने से लेकर 5 साल तक की जेल हो सकती है।
इन 18 लोगों पर लगे है आरोप
क्रिस गोपालकृष्णन के साथ जिन 17 लोगों पर मुकदमा दर्ज किया गया है, उनमें श्रीधर वारियर, गोविंदन रंगराजन, हरि केवीएस, संध्या विश्वेश्वरैह, बलराम पी, दासप्पा, के चट्टोपाध्याय, मनोहरन, प्रदीप डी सावकर और हेमलता मिशी का नाम शामिल हैं. जो उद्योग जगत में काफी ऊंचे और प्रतिष्ठित पदों पर कार्यरत है।
38,500 करोड़ के मालिक है क्रिस गोपालकृष्णन
साल 2024 के मुताबिक कृषि गोपाल कृष्ण की कुल नेटवर्थ 38,500 करोड़ आंकी गई है। जो फोर्ब्स द्वारा जारी की गई 100 सबसे अमीर लोगों की सूची में 73वें स्थान पर थे।